देहरादून : बॉबी पंवार के रोड-शो से टेंशन में BJP व कांग्रेस, सड़कों पर उमड़ा सैलाब
देहरादून : उत्तराखंड समेत पूरे देश में लोकसभा चुनाव का शोर खूब हो रहा है। उत्तराखंड में 19 अप्रैल को पहले चरण में मतदान होगा, जिसके लिए अब कुछ ही दिन बचे हुए हैं। इसके चलते राजनीतिक दलों के प्रत्याशी पूरे जोर से स्टार प्रचारकों के साथ चुनाव मैदान में हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से लेकर कांग्रेस की नेता प्रियंका गांधी तक उत्तराखंड के दौरे कर चुके हैं। उत्तराखंड के पांच लोकसभा सीटों में से टिहरी लोकसभा सीट की चर्चा पूरे देश भर में है।
चर्चा इसलिए है, क्योंकि एक 26 साल का युवा भाजपा और कांग्रेस जैसे राष्ट्रीय दलों को ललकार रहा है। 26 साल के बॉबी पंवार निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर मैदान में उतरे हैं और भाजपा, कांग्रेस के दांत खट्टे कर रहे हैं। बॉबी हर दिन किसी न किसी वजह से भाजपा और कांग्रेस के प्रत्याशियों को टेंशन दे रहे हैं।
आज रंवाई घाटी के बड़कोट, नौगांव और पुरोला में जहां निर्दलीय प्रत्याशी बॉबी पंवार के समर्थन में रैलियां निकाली गईं। वहीं, बड़कोट में पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक की जनसभा भी हुई। लेकिन, जो नजारा देखने को मिला। वह हैरान करने वाला था।
बॉबी पंवार ने एक बार फिर कांग्रेस और भाजपा के प्रत्याशियों की नींद उड़ा कर रख दी। जहां बड़कोट में पूर्व सीएम निशंक की रैली और जनसभा पूरी तरह की फीकी नजर आई। वहीं, बॉबी पंवार के समर्थन में हजारों की भीड़ सड़कों पर उतर आई। चाहे पुरोला की बात हो या नौगांव या फिर बड़कोट की हर जगह भारी संख्या में लोग बॉबी के समर्थन में सड़कों पर उतर आए।
बॉबी पंवार को जिस तरह से लोगों का समर्थन मिल रहा है। उससे भाजपा और कांग्रेस परेशान नजर आ रहे हैं। दावे भले ही दोनों राष्ट्रीय दल जीत के कर रहे हों, लेकिन कहीं ना कहीं उनको बॉबी पंवार से खतरा नजर आ रहा है। टिहरी लोकसभा क्षेत्र में बॉबी पंवार की लहर नजर आ रही है। हर कोई खुद से ही उनके प्रचार में जट रहा है।
दरअसल, बॉबी पंवार को मिल रहे समर्थन के पीछे उत्तराखंड बेरोजगार संघ के अध्यक्ष के तौर पर उन्होंने युवाओं के हित के जो भी मसले उठाए, उनसे बॉबी को एक अलग पहचान मिली। नकल माफिया को बेनकाब करने में कोई कसर नहीं छोड़ी।
कई बार आंदोलन किया। लंबे समय तक धरना प्रदर्शन और अनशन भी करते रहे। इस बीच जेल भी गए। सरकार ने उन पर कई मुकदमे भी दर्ज कराए हैं। युवाओं के रोजगार के हक के लिए बेरहमी से पुलिस की लाठियों का शिकार भी हुए।
बॉबी पंवार लगातार भू-कानून, मूल निवास और अंकित भंडारी हत्याकांड जैसे मुद्दों को भी मुखरता से उठाते आए हैं। यही वजह है जो उनको सबका पसंदीदा उम्मीदवार बना रही है। जिस तरह से आज भारी जन समर्थन मिला है, उससे राजनीतिक जानकार भी हैरान हैं और उनको भी टिहरी लोकसभा सीट पर चौंकाने वाले परिणाम आने का अनुमान होने लगा है। हालांकि परिणाम क्या आता है, यह 4 जून को ही पता चल पाएगा। लेकिन, बॉबी पवार ने भाजपा कांग्रेस को टेंशन में जरूर ला दिया है।