शिक्षकों ने प्रधानाचार्य पद पर सीधी भर्ती के विरोध में सीईओ कार्यालय पर दिया धरना
-जिले के कई विद्यालयों में अतिथि शिक्षकों ने सुचारू रखा पठन-पाठन
गोपेश्वर (चमोली)। राजकीय शिक्षण संघ से जुड़े सदस्यों ने शुक्रवार को आकस्मिक अवकाश लेकर प्रधानाचार्य पद पर सीधी भर्ती के विरोध में मुख्य शिक्षा अधिकारी चमोली के कार्यालय पर धरना दिया। राजकीय शिक्षक संघ से जुड़े शिक्षकों के अवकाश पर होने की दशा में जिन विद्यालयों में अतिथि शिक्षक तैनात है वहां पर विद्यालयों में पठन-पाठन सुचारू रहा। अनुसूचित जाति, जनजाति शिक्षक एसोसिएशन ने भी मुख्य शिक्षा अधिकारी को विरोध में ज्ञापन सौंपा।
राजकीय शिक्षक संघ चमोली के जिलाध्यक्ष प्रदीप भंडारी, महामंत्री प्रकाश सिंह चौहान का कहना है कि प्रधानाचार्य के पदों को नियमावली बनाकर सीधी भर्ती से भरा जा रहा है। जबकि पहले इन पदों पर पदोन्नति के आधार पर तैनाती की जाती थी। उन्होंने कहा कि सीधी भर्ती के लिए जो नियमावली बनायी गई है उससे दस फीसदी शिक्षक भी इस दायरे में नहीं आ रहे है ऐसे में यह नियमावली शिक्षकों के साथ अन्याय है। उन्होंने कहा कि हम इस नियमावली को निरस्त करने की मांग करते है और पूर्व की भांति पदोन्नति से प्रधानाचार्य के पदों को भरने की मांग कर रहे है। मुख्य शिक्षा अधिकारी कार्यालय पर धरना प्रदर्शन करने वालों में अध्यक्ष प्रदीप भंडारी, महामंत्री प्रकाश सिंह चौहान, संयुक्त मंत्री मोहन सिंह नेगी, वृजमोहन सिंह रावत, बीएस नेगी, हरेंद्र सिंह रावत, अनिल कुमार, नरेंद्र सिंह रावत, वसुदेव झिंक्वाण, संतोष बिष्ट, भरत नेगी, ब्रहमानंद किमोठी, महावीर जग्गी, अतीश खण्डूरी, राजे सिंह बिष्ट, दशरथ कंडवाल, भूपाल सिंह नेगी, हरि प्रसाद खण्डूरी, मोहन राणा, सीमा पुंडीर, मीनाक्षी सती, शर्मिला डिमरी आदि मौजूद थे।
इधर, अनुसूचित जाति जनजाति शिक्षक एसोसिएशन ने भी प्रधानाचार्य पदों पर सीधी भर्ती के विरोध में मुख्य शिक्षा अधिकारी को ज्ञापन सौंप कर नियमावली को निरस्त करने की मांग की है। इस मौके अध्यक्ष दिनेश शाह, कोषाध्यक्ष कैलाश चन्द्रवाल, दशोली ब्लॉक अध्यक्ष धनी आगरी, हरिश टम्टा, शशिकांत पिलंगवाल आदि शामिल थे।
वहीं प्रधानाचार्य पद पर सीधी भर्ती के विरोध में सामुहिक आकस्मिक अवकाश के बाद शिक्षकों की ओर से मुख्य शिक्षा अधिकारी चमोली के कार्यालय पर धरना, प्रदर्शन में भाग लेने के कारण जिले के कई विद्यालयों में पठन-पाठन में व्यवधान रहा लेकिन जिन विद्यालयों में अतिथि शिक्षक तैनात है वहां पर पठन-पाठन सुचारू रहा।