आंतरिक सुरक्षा को लेकर डीएम संदीप तिवारी ने ली अधिकारियों की बैठक

गोपेश्वर (चमोली)। जिलाधिकारी चमोली संदीप तिवारी ने गुरुवार को आंतरिक सुरक्षा को लेकर सभी जिला स्तरीय अधिकारियों की बैठक ली। बैठक में ब्लैकआउट के समय बरती जाने वाली सावधानियों को लेकर चर्चा की गयी। डीएम ने आपदा प्रबंधन अधिकारी को सायरन की खरीद करने और पुलिस के साथ समन्वय स्थापित कर जनपद के चिह्नित स्थानों पर सायरन को लगाने की कार्रवाई करने के साथ ही सभी अधिकारियें के साथ मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) साझा करने के निर्देश दिए। साथ ही उन्होंने जनप्रतिनिधियों को साथ लेकर लोगों को जागरूरक करने के निर्देश दिए।
मुख्य शिक्षाधिकारी को सेफ सेल्टर के लिए भवनों, विद्यालयों का चयन करते हुए सड़क बिजली, पानी की जानकारी के साथ सूची जिला प्रशासन को उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। ताकि मानसून आपदा में भी इनका इस्तेमाल किया जा सके। सैनिक कल्याण विभाग को सिविल डिफेंस के लिए पूर्व सैनिकों के नामांकन की कार्यवाही शुरू करने के निर्देश दिए। उन्होंने सार्वजनिक उपक्रम एनटीपीसी, जेपी और टीएचडीसी को भी लेबर, तकनीकी स्टाफ मूवमेंट को लेकर सावधानी बरतने और अनधिकृत व्यक्ति को परिसर में प्रतिबंधित करने के निर्देश दिए। कहा कि अगर कहीं को संदिग्ध गतिविधि होती है तो तुरन्त पुलिस को सूचना दें।
मुख्य चिकित्साधिकारी को सभी हास्पिटलों में रेड क्रॉस लगाने, बर्न यूनिट को लेकर कार्यवाही करने, ब्लड बैंक में सभी वर्गों के ब्लड और अन्य जीवन रक्षक दवाइयों की उपब्लधता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। वहीं वन विभाग को भी विशेष सतर्कता बरतने के निर्देश दिए। जिला पूर्ति अधिकारी को राशन, ईंधन का स्टॉक रखने और कालाबाजारी को रोकने के लिए कार्रवाई करने के निर्देश दिए।
होमगार्ड कमांडेंट और डीईओ पीआरडी को स्किल वाइज जवानों को सूची उपलब्ध कराने के निर्देश दिए ताकि जरूरत पड़ने पर उनके स्किल का लाभ लिया जा सके। संभागीय परिवहन अधिकारी को वाहन स्वामियों और चालकों के नम्बर, पता भी साझा करने के निर्देश दिए। आपदा प्रबंधन विभाग के साथ-साथ अन्य सभी संबंधित विभागों को समय से आवश्यक वस्तुओं, उपकरणों का क्रय करने के निर्देश दिए। यह सुनिश्चित किया जाए कि सारे फायर हाईडेंट वर्किंग हों।
आपदा प्रबंधन अधिकारी नन्द किशोर जोशी ने बताया कि आपात स्थिति में अगर सायरन लंबे समय तक बजता है तो बडे खतरे का संकेत हो सकता है ऐसी स्थिति में तत्काल सुरक्षित स्थान पर शरण लें। इसके लिए घर में सुरक्षित स्थान का चिह्नीकरण करना आवश्यक है। यदि आप घर में हैं तो सायरन सुनते ही तुरन्त सतर्क हो जाएं और आसपास के लोगों को सूचित करें। सभी लाइट और गैस उपकरणों के साथ साथ खिड़की दरवाजे व पर्दे भी बंद कर लें। टीवी, रेडियो या मोबाइल से आधिकारिक जानकारी प्राप्त करते रहें। शान्त सतर्क और सावधान रहें। खिड़कियों या बालकनी के पास खडे न हो, जब तक प्रशासन द्वारा सुरिक्षत संदेश ना दिया जाए तक बाहर ना निकलें। यदि आप घर के बाहर हैं तो तुरन्त निकटतम इमारत, बेसमेंट में तुरन्त शरण लें। पुलों, खुले मैदानों, बिजली के खंबो या पेट्रोल पम्पों से दूर रहें। यदि आप वाहन चला रहें तो वाहन को सुरक्षित स्थान पर रोक दें। हेड लाइट और इंजन बंद कर दें। सड़क के किनारे किसी इमारत में बेसमेंट में जाएं यदि कोई आश्रय उपलब्ध ना हो तो सड़क के किनारे लेट जाएं और सिर को ढक लें। अफवाहों पर ध्यान न दें केवल आधिकारिक सूचना पर भरोसा करें। जिला प्रशासन की ओर से दिए गए निर्देशों का पालन करें। बैठक में अपर जिलाधिकारी विवेक प्रकाश, जिला विकास अधिकारी केके पन्त सहित सभी संबंधित अधिकारी मौजूद रहे।