Friday, November 15th 2024

मुंबई में प्रवासी उत्तराखण्डियों ने किया सीएम पुष्कर सिंह धामी का भव्य स्वागत, प्रवासी बोले – मुख्यमंत्री धामी के नेतृत्व में प्रदेश का हर क्षेत्र में हो रहा तेजी से विकास

मुंबई में प्रवासी उत्तराखण्डियों ने किया सीएम पुष्कर सिंह धामी का भव्य स्वागत, प्रवासी बोले – मुख्यमंत्री धामी के नेतृत्व में प्रदेश का हर क्षेत्र में हो रहा तेजी से विकास

मुम्बई : मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के स्वागत में विष्णु दास भावे ऑडिटोरियम वासी, नवी मुंबई में प्रवासी उत्तराखण्डियों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। गढ़वाली, कुमाऊनी और जौनसारी बोली में अनेक प्रस्तुतियां प्रवासी उत्तराखण्डियों द्वारा दी गई। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी द्वारा लागू किए गए नकल विरोधी कानून की प्रवासियों द्वारा सराहना की गई। उन्होंने कहा कि धामी के नेतृत्व में प्रदेश का हर क्षेत्र में तेजी से विकास हो रहा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जिस तरह से प्रवासी उत्तराखण्डियों द्वारा मुंबई में उनका स्वागत किया गया उससे वे अभिभूत हैं। उन्होंने कहा कि उन्हें देवभूमि उत्तराखंड के मुख्य सेवक के रूप में आप सभी के बीच आने का सुअवसर प्राप्त हो रहा है। उत्तराखंड की संस्कृति में जो मधुरता है, विनम्रता है और एक अपनापन है, वो अपने आप में विशिष्ट है। हमारे खान-पान में, हमारे रहन-सहन में, हमारी बोल-चाल में, एक भावनात्मक लगाव है। उन्होंने मुंबई में रह रहे उत्तराखंड के लोगों से आग्रह किया कि साल में एक बार परिवार सहित अपनी मातृभूमि जरूर आने का प्रयास करें।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में आज का नया भारत सम्पूर्ण विश्व को एक नई दिशा देने का काम कर रहा है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन और केन्द्र सरकार के सहयोग से उत्तराखंड में ऐसे बहुत से काम हुए हैं, जो पहले नामुमकिन से लगते थे। पिछले पांच वर्षों में केन्द्र सरकार से प्रदेश में 1 लाख 50 हजार करोड़ से अधिक की परियोजनाएं स्वीकृत हुई हैं। श्री केदारपुरी का पुनर्निर्माण व बद्रीनाथ के सौन्दर्यीकरण के कार्य प्रधानमंत्री जी के विजन, नेतृत्व एवं संकल्प का सर्वश्रेष्ठ उदाहरण हैं । आज जौलीग्रांट एयरपोर्ट को अंतरराष्ट्रीय स्तर का बनाया जा रहा है तथा ऊधमसिंह नगर में ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट को भी विकसित किया जा रहा है। इस अवसर पूर्व मंत्री महाराष्ट्र गणेश नायक और काफी संख्या में प्रवासी उत्तराखंडी मौजूद थे।